श्रम और रोजगार मंत्री भूपेंद्र यादव ने आज तिमाही रोजगार सर्वेक्षण की दूसरी तिमाही की रिपोर्ट जारी की। यह अखिल भारतीय त्रैमासिक सर्वेक्षण पर आधारित रोजगार सर्वेक्षण का ही हिस्सा है।
भूपेंद्र यादव ने परिणामों को साझा करते हुए कहा कि विभिन्न क्षेत्रों में रोजगार की प्रवृत्ति में बढ़ोत्तरी देखने को मिली है और नौ चयनित क्षेत्रों में कुल तीन करोड़ 10 लाख रोजगार हैं। उन्होंने कहा कि रोजगार के आंकड़े तिमाही रोजगार सर्वेक्षण के पहले दौर के अनुमानित रोजगार से करीब दो लाख अधिक हैं। उन्होंने इस बात पर बल दिया कि सरकार का प्रमुख उद्देश्य पंक्ति के अंतिम व्यक्ति तक लाभ पहुंचाना है। श्रम औऱ रोज़गार मंत्री ने कहा कि मंत्रालय ने इस उद्देश्य को प्राप्त करने के लिए साक्ष्य-आधारित नीति बनाने के लिए श्रम विभाग को राष्ट्रव्यापी सर्वेक्षण सौंपा है।
रिपोर्ट में कहा गया है कि विनिर्माण क्षेत्र में 39 प्रतिशत, शिक्षा में 22 प्रतिशत और स्वास्थ्य के क्षेत्र में श्रमिकों का 10 प्रतिशत अनुमानित है। महिला श्रमिकों का कुल प्रतिशत 32 प्रतिशत था जो सर्वेक्षण के पहले चरण के दौरान रिपोर्ट किए गए प्रतिशत से लगभग तीन प्रतिशत अधिक है। रिपोर्ट में आगे बताया गया है कि नौ चयनित क्षेत्रों में अनुमानित कार्यबल का 87 प्रतिशत नियमित कर्मचारी हैं, जिसमें केवल 2 प्रतिशत आकस्मिक या कैसुएल कर्मचारी हैं। निर्माण क्षेत्र में 20 प्रतिशत कामगार ठेके पर और करीब साढ़े 6 प्रतिशत कैजुअल कामगार थे। नौ चयनित क्षेत्रों में विनिर्माण, निर्माण, व्यापार, परिवहन, शिक्षा, स्वास्थ्य, आवास और रेस्तरां, आईटी तथा बीपीओ और वित्तीय सेवाएं शामिल हैं।