कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (ईपीएफओ) की 16वीं क्षेत्रीय समीक्षा बैठक का आरंभ 30 अप्रैल 2024 को सचिव (श्रम एवं रोजगार मंत्रालय) सुमिता डावरा ने केंद्रीय भविष्य निधि आयुक्त (सीपीएफसी) नीलम शमी राव, संयुक्त सचिव (श्रम और रोजगार मंत्रालय) आलोक मिश्रा और ईपीएफओ के वरिष्ठ अधिकारियों की उपस्थिति में किया।
इस बैठक का उद्देश्य पिछले एक वर्ष के दौरान हुई प्रगति पर विचार करना, सफलता के क्षेत्रों की पहचान करना, सुधार के संबंध में चर्चा करना और चालू वर्ष 2024-25 के लक्ष्यों के साथ-साथ प्रमुख प्रदर्शन संकेतकों की पहचान करना था। इस बैठक में क्षेत्रों ने अपने सर्वोत्तम अनुभव साझा किए और अन्य क्षेत्रों को उनका अनुसरण करने के लिए प्रोत्साहित किया गया।
सचिव (श्रम एवं रोजगार मंत्रालय) सुमिता डावरा ने अपने लाखों सदस्यों की सामाजिक सुरक्षा संबंधी आवश्यकताओं के प्रबंधन की दिशा में सबसे बड़े सामाजिक सुरक्षा संगठनों में से एक होने के नाते ईपीएफओ के अवसर और उत्तरदायित्व पर बल दिया। उन्होंने इस वर्ष ईपीएफओ के लिए प्रमुख प्रदर्शन संकेतकों पर भी जोर दिया, जिनमें सामाजिक सुरक्षा का विस्तार, दावों का तेजी से निपटान, दावा अस्वीकृति में कमी, संशोधित आईटी प्रणालियों, पेंशन और नियोक्ताओं के लिए व्यापार करने में आसानी शामिल है।
उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि दावों पर कार्रवाई करने से लेकर डिजिटल सेवाओं के विस्तार तक, संचालन के हर पहलू को यह सुनिश्चित करने के लिए अनुकूलित किया जाना चाहिए कि ईपीएफओ अपने हितधारकों की जरूरतों को प्रभावी ढंग से और कुशलतापूर्वक पूरा कर रहा है। उन्होंने अग्रिम दावों के स्वत: निपटान के क्षेत्र में ईपीएफओ की ओर से किए गए प्रयासों की सराहना की।
उन्होंने ईपीएफओ में केंद्रीकृत आईटी सक्षम डेटा बेस प्रणाली, सदस्यों के लिए सार्वभौमिक खाता संख्या आधारित एकल खाता, दावा निपटान प्रक्रिया को सुगम बनाने के लिए प्रक्रिया प्रवाह का स्वचालन (ऑटोमेशन), बेहतर सेवा वितरण के लिए दावों की शुरुआत में पात्रता की जांच और ईपीएफओ के किए गए प्रयासों व सदस्यों की बेहतर समझ के लिए अस्वीकृति टिप्पणियों को सटीक व सरल बनाए जाने को रेखांकित किया। उन्होंने आगे औसत शिकायत निपटान अवधि को काफी कम करने और लगभग सभी दावों को निर्धारित समयसीमा के भीतर निपटारा करने के लिए ईपीएफओ की सराहना कीं। श्रम और रोजगार मंत्रालय की सचिव ने पिछले एक साल में किए गए अच्छे कार्य के लिए ईपीएफओ टीम को बधाई दीं और इसे भविष्य में भी जारी रखे जाने को लेकर अपनी शुभकामना व्यक्त कीं।
केंद्रीय भविष्य निधि की आयुक्त (ईपीएफओ) नीलम शमी राव ने यह देखने के लिए कि पिछले वित्तीय वर्ष में किन उपलब्धियों को प्राप्त किया गया है व क्या कमियां हैं और इसके साथ रिटर्न अस्वीकृति अनुपात की चिंता को औपचारिक रूप देने के लिए संगठन के अल्पकालिक और दीर्घकालिक लक्ष्यों पर जोर दिया। इसके अलावा उन्होंने पिछले वित्तीय वर्ष में किए गए अच्छे कार्यों के लिए सभी को बधाई दीं।
संयुक्त सचिव (श्रम और रोजगार मंत्रालय) आलोक मिश्रा ने बताया कि ईपीएफओ हमारे देश की सामाजिक सुरक्षा प्रणाली के मूल में एक महत्वपूर्ण कड़ी है। उन्होंने आगे अनुसंधान और अध्ययन के केंद्र के रूप में पीडीयूएनएएसएस की बड़ी भूमिका पर जोर दिया।