अखिल भारतीय आयुर्वेद संस्थान (एआईआइए) ने अपने स्नातकोत्तर छात्रों के 9वें बैच का पारंपरिक अभिविन्यास कार्यक्रम ‘संस्कार 2024’ के साथ स्वागत किया। 15 दिवसीय कार्यक्रम की शुरुआत शपथ ग्रहण समारोह से हुई, जहाँ 85 नए प्रवेशित छात्रों ने शिष्योपनयन प्रतिज्ञा ली।
एआईआईए की पूर्व निदेशक प्रो. (डॉ.) तनुजा मनोज नेसरी मुख्य अतिथि थीं, जबकि एआईआईए की निदेशक (स्वतंत्र प्रभार) प्रो. (डॉ.) सुजाता कदम ने कार्यक्रम की अध्यक्षता की। इस अवसर पर उपस्थित अन्य गणमान्य व्यक्तियों में डीन पीएचडी प्रो. (डॉ.) महेश व्यास, डीन पीजी प्रो. (डॉ.) योगेश बडवे, सलाहकार अकादमिक गतिविधियाँ प्रो. (डॉ.) आनंद मोरे और अन्य संकाय सदस्य शामिल थे।
मुख्य अतिथि प्रो. (डॉ.) तनुजा मनोज नेसारी ने सभा को संबोधित करते हुए नए छात्रों को शुभकामनाएं डी और कहा, “मुझे उम्मीद है कि यह बैच भविष्य में इतिहास रचेगा।” उन्होंने असाधारण शिक्षा और बदलाव की यात्रा को महत्व देने के एआईआइए के यूएसपी पर जोर दिया।
एआईआईए की निदेशक (स्वतंत्र प्रभार) प्रो. (डॉ.) सुजाता कदम ने छात्रों को प्रोत्साहित करते हुए कहा, “जिस तरह सोने को अनेक परीक्षणों से परिष्कृत किया जाता है, उसी तरह ये तीन वर्ष आपको परिष्कृत बना कर आपकी यात्रा को असाधारण बनाएंगे, मुझे उम्मीद है कि आप इस संस्थान से सर्वश्रेष्ठ छात्र बनकर उभरेंगे।”
9वें बैच में पूरे भारत से चयनित 85 छात्र हैं, जिन्होंने आयुष मंत्रालय, भारत सरकार के तहत राष्ट्रीय भारतीय चिकित्सा पद्धति आयोग (एनसीआईएसएम) द्वारा आयोजित अखिल भारतीय आयुष स्नातकोत्तर प्रवेश परीक्षा (एआईएपीजीईटी) उत्तीर्ण की है।
2017 में स्थापित, एआईआइए ने 27 लाख से अधिक रोगियों का इलाज किया है और प्रतिदिन 2000 से अधिक रोगियों की देखभाल करता है।