बुद्ध पूर्णिमा के मौके पर राष्ट्रपति और उप-राष्ट्रपति ने देशवासियों को शुभकामनाएं दी, श्रद्धालुओं ने गंगा नदी में लगाई पवित्र डुबकी
आज बुद्ध पूर्णिमा है। गौतम बुद्ध का जन्म और परिनिर्वाण आज ही के दिन हुआ था। उन्हें बोधगया में महाबोधि वृक्ष के नीचे निर्वाण की प्राप्ति हुई थी।
बुद्ध पूर्णिमा भारत, नेपाल, भूटान, बर्मा, थाईलैंड, तिब्बत, कोरिया, लाओस, वियतनाम, मंगोलिया, कंबोडिया, सिंगापुर, इंडोनेशिया और श्रीलंका के बौद्धों और हिंदुओं का एक प्रमुख त्योहार है।
राष्ट्रपति और उप-राष्ट्रपति ने बुद्धपूर्णिमा पर देशवासियों को शुभकामनाएं दी हैं।
राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु ने कहा कि भगवान बुद्ध करुणा के अवतार थे और अहिंसा, प्रेम तथा दयालुता का उनका संदेश मानव जाति के कल्याण का मूल आधार है। उन्होंने कहा कि भगवान बुद्ध के आदर्शों ने समानता, सद्भाव और सामाजिक न्याय के शाश्वत मूल्यों में हमारे विश्वास को प्रगाढ किया है।
उप-राष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने कहा कि भगवान बुद्ध का संदेश चुनौतीपूर्ण समय में ध्रुवतारे की तरह हैं। उन्होंने कहा कि भगवान बुद्ध का मध्य मार्ग का संदेश आज की दुनिया में व्यक्ति और मानवता– दोनों के लिए पहले से कहीं अधिक प्रासंगिक है।
बुद्ध पूर्णिमा के अवसर पर श्रद्धालुओं ने प्रयागराज-संगम तथा हर की पौड़ी पर गंगा नदी में पवित्र डुबकी लगाई।