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Union Environment Minister chairs high-level review meeting on Air Quality Management in Delhi-NCR
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केन्द्रीय पर्यावरण मंत्री ने दिल्ली-एनसीआर में वायु गुणवत्ता प्रबंधन पर उच्च स्तरीय समीक्षा बैठक की अध्यक्षता की

केन्द्रीय पर्यावरण, वन एवं जलवायु परिवर्तन मंत्री भूपेन्द्र यादव ने आज नई दिल्ली में एक उच्च स्तरीय समीक्षा बैठक की अध्यक्षता की, जिसका उद्देश्य दिल्ली-एनसीआर क्षेत्र में वायु प्रदूषण की रोकथाम और नियंत्रण के लिए चल रही पहलों की प्रगति की समीक्षा करना था।

बैठक में प्रमुख हितधारकों ने भाग लिया, जिनमें वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग (सीक्यूएम), राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र दिल्ली सरकार, हरियाणा, पंजाब तथा अन्य संबंधित एजेंसियां शामिल थीं। इस बैठक में पर्यावरण मंत्री, राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र दिल्ली सरकार, सरदार मंजिन्दर सिंह सिरसा और नीति आयोग के सीईओ बी.वी.आर. सुब्रह्मण्यम ने भी भाग लिया।

बैठक के दौरान, भूपेन्द्र यादव ने महत्वपूर्ण हस्तक्षेपों की प्रगति की समीक्षा की, जैसे कि ऑनलाइन कंटिन्यूअस एमिशन मॉनिटरिंग सिस्टम्स (OCEMS) की स्थापना और रियल-टाइम निगरानी, वायु प्रदूषण नियंत्रण उपकरणों की तैनाती, और प्रभावी अपशिष्ट संग्रहण एवं निस्तारण के लिए एकीकृत अपशिष्ट प्रबंधन योजना के कार्यान्वयन के साथ-साथ आगामी फसल कटाई मौसम में पराली जलाने की संभावनाएँ।

सड़क की धूल प्रदूषण को कम करने और सड़कों को स्वच्छ बनाए रखने के लिए यांत्रिक सड़क झाड़ू मशीनों के उपयोग को बढ़ाने के प्रयासों पर भी विस्तार से चर्चा की गई। शहरी हरियाली बढ़ाने पर विशेष बल दिया गया, जो कि ‘एक पेड़ माँ के नाम’ नामक प्रमुख पहल के तहत बड़े पैमाने पर वृक्षारोपण अभियानों के माध्यम से दिल्ली और एनसीआर में मिशन मोड में लागू की जा रही है। केन्द्रीय मंत्री ने वायु प्रदूषण में कमी के लिए अधिकतम प्रभाव वाले केंद्रित हस्तक्षेपों पर जोर देने का सुझाव दिया। उन्होंने प्रमुख प्रदूषणकारी उद्योगों में OCEMS और APCDs की स्थापना जैसी विभिन्न प्रगतिशील पहलों को शीघ्र गति देने की आवश्यकता पर बल दिया।

भूपेन्द्र यादव ने वायु प्रदूषण से निपटने के लिए सभी एजेंसियों द्वारा समन्वित दृष्टिकोण अपनाने की आवश्यकता पर जोर दिया। उन्होंने दिल्ली-एनसीआर में विभिन्न एजेंसियों द्वारा लागू वायु प्रदूषण नियंत्रण उपायों की निगरानी के लिए एकीकृत कमांड और नियंत्रण केंद्र की आवश्यकता पर भी बल दिया।

केन्द्रीय मंत्री ने उद्योग जगत से वायु प्रदूषण के खिलाफ लड़ाई में सक्रिय सहयोग देने का आह्वान किया। भूपेन्द्र यादव ने उल्लेख किया कि प्रयासों का केंद्र सभी संबंधित पक्षों – उद्योग, नागरिक और एजेंसियों – के व्यवहार परिवर्तन पर होना चाहिए, ताकि प्रदूषण कम करने वाली गतिविधियों को धीरे-धीरे सभी अपनाएँ। मंत्री ने वायु प्रदूषण के खिलाफ लड़ाई में नागरिकों की भागीदारी को सुगम बनाने के लिए विभिन्न ऐप्स के एकीकरण पर ज़ोर दिया।

केंद्रीय मंत्री ने क्षेत्र में वायु गुणवत्ता सुधारने हेतु सरकार की दृढ़ प्रतिबद्धता दोहराई और कहा कि यह कार्य सभी हितधारकों, जिनमें नागरिक भी शामिल हैं, के सहयोग और समन्वय से ही संभव होगा।

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