उत्तराखंड सरकार ने राज्य में जंगल की भीषण आग पर काबू पाने के लिए उठाए गए कदमों से उच्चतम न्यायालय को बुधवार को अवगत कराया और कहा कि आग की घटना के कारण राज्य का केवल 0.1 प्रतिशत वन्यजीव क्षेत्र प्रभावित हुआ है।
राज्य सरकार ने न्यायमूर्ति बी आर गवई और न्यायमूर्ति संदीप मेहता की पीठ को बताया कि पिछले साल नवंबर से राज्य में जंगल में आग लगने की 398 घटनाएं हुई हैं और वे सभी मानव निर्मित हैं।
राज्य सरकार की ओर से पेश अधिवक्ता ने सरकार द्वारा उठाए गए कई कदमों से अवगत कराने के अलावा पीठ को यह भी बताया कि जंगल की आग के संबंध में 350 आपराधिक मामले दर्ज किए गए हैं और उनमें 62 लोगों को नामित किया गया है।