भारत

उत्तर-पूर्वी क्षेत्र विकास मंत्रालय ने अष्टलक्ष्मी महोत्सव में “क्रेता विक्रेता बैठक” का आयोजन किया

उत्तर-पूर्वी क्षेत्र विकास मंत्रालय की तरफ से आयोजित व्यावसायिक अष्टलक्ष्मी महोत्सव में एक विशेष क्रेता-विक्रेता बैठक हुई, जिसमें पूर्वोत्तर राज्यों के विक्रेता और देश के विभिन्न हिस्सों के क्रेता जुटे। नई दिल्ली स्थित भारत मंडपम में आयोजित इस कार्यक्रम का उद्देश्य उत्तर-पूर्वी भारत के कारीगरों और क्रेताओं के बीच दीर्घकालिक व्यापारिक संबंधों को बढ़ावा देना था।

इस क्रेता-विक्रेता बैठक में वस्त्र, रेशम उत्पादन, हथकरघा एवं हस्तशिल्प; रत्न, आभूषण एवं संबद्ध; कृषि एवं बागवानी और पर्यटन सहित चार प्रमुख क्षेत्रों में उत्तर-पूर्वी राज्यों के क्रेताओं और विक्रेताओं के बीच सीधे व्यापारिक संपर्क साधने का अवसर मिला। इस बैठक में क्षेत्र के आर्थिक विकास को बढ़ावा देने के लिए थोक ऑर्डर, दीर्घकालिक व्यापार संबंध और तत्काल व्यापार सौदों को प्रोत्साहन दिया गया।

इस कार्यक्रम में उत्तर-पूर्वी क्षेत्र विकास मंत्रालय (एमडीओएनईआर), उत्तर पूर्वी हस्तशिल्प और हथकरघा विकास निगम लिमिटेड (एनईएचएचडीसी); ओपन नेटवर्क फॉर डिजिटल कॉमर्स (ओएनडीसी) के वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित रहे।

उद्घाटन सत्र के दौरान, एनईएचएचडीसी के सलाहकार ने उत्तर पूर्वी क्षेत्र की अनुकूल परिस्थितियों और क्षेत्र में निवेश के लिए उपलब्ध अवसरों पर प्रकाश डाला। ओएनडीसी के मुख्य व्यवसाय अधिकारी ने बताया कि ओएनडीसी एक तकनीक आधारित पहल है, जो ओपन-सोर्स विनिर्देशों के आधार पर एक ओपन प्रोटोकॉल के माध्यम से ई-कॉमर्स को सक्षम करके देश में ई-कॉमर्स के काम करने के तरीके में बदलाव लाने के लिए शुरू की गई है। यह पहल न केवल ई-कॉमर्स को तेजी से अपनाने में मदद करेगी, बल्कि भारत में स्टार्टअप के विकास को भी मजबूती के साथ बढ़ावा देगी। ओपन प्रोटोकॉल के माध्यम से मापनीय और लागत प्रभावी ई-कॉमर्स की सुविधा देकर, ओएनडीसी स्टार्टअप को सहयोगात्मक रूप से बढ़ने के लिए सशक्त बनाएगा। उन्होंने इस बात पर भी प्रकाश डाला कि एनईएचएचडीसी के सहयोग से ओएनडीसी उत्तर-पूर्वी क्षेत्र के कारीगरों/बुनकरों/विक्रेताओं को अपने मंच पर ला रहा है, ताकि उनका बाजार से संपर्क बढ़ाया जा सके। एनईएचएचडीसी के प्रबंध निदेशक ने उत्तर-पूर्वी क्षेत्र विकास मंत्रालय की इस पहल की सराहना की और कहा कि इस तरह की पहल से न केवल उत्तर-पूर्वी क्षेत्र के स्वदेशी उत्पादों को बढ़ावा मिलेगा, बल्कि क्षेत्र के स्थानीय कारीगरों/बुनकरों/विक्रेताओं को आर्थिक तौर पर समृद्ध करने में भी मदद मिलेगी।

उत्तर-पूर्वी क्षेत्र विकास मंत्रालय के संयुक्त सचिव ने बताया कि उत्तर-पूर्वी क्षेत्र रणनीतिक निवेश के साथ विकास के लिए आश्वस्त है और यह विभिन्न क्षेत्रों में अग्रणी के रूप में उभर सकता है। उन्होंने खास तौर से कहा कि कि केंद्र सरकार और राज्य सरकार ने अपनी पहल/योजनाओं के जरिए उत्तर-पूर्वी क्षेत्र में निवेश के लिए अनुकूल वातावरण बनाया है। उन्होंने यह भी उल्लेख किया कि पूर्वोत्तर के सभी आठ राज्य क्षेत्र में निवेश के लिए निवेशकों को अद्वितीय अवसर प्रदान करते हैं। उत्तर-पूर्वी क्षेत्र विकास मंत्रालय के साथ-साथ सभी पूर्वोत्तर राज्य क्षेत्र में निवेश के लिए आवश्यक मदद देने के लिए प्रतिबद्ध हैं।

इस कार्यक्रम में देश के विभिन्न हिस्सों के खरीदारों के साथ पूर्वोत्तर राज्यों के विक्रेताओं की आमने-सामने बातचीत हुई।

Editor

Recent Posts

केंद्र सरकार ने इलेक्ट्रॉनिक्स विनिर्माण घटक योजना के तहत 5500 करोड़ रुपये से अधिक के निवेश वाली सात परियोजनाओं के पहले बैच को स्वीकृति दी

केंद्रीय इलेक्ट्रॉनिक्स एवं सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री अश्विनी वैष्णव ने इलेक्ट्रॉनिक्स घटक विनिर्माण योजना (ईसीएमएस) के…

8 घंटे ago

गृह मंत्री अमित शाह ने आज मझगांव डॉक, मुंबई में प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना के अंतर्गत ‘गहन सागरीय मत्स्य नौकाओं’ का लोकार्पण किया

केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने आज मझगांव डॉक, मुंबई में प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना…

8 घंटे ago

संयुक्त अरब अमीरात थल सेना के कमांडर मेजर जनरल यूसुफ मयूफ सईद अल हल्लामी भारत पहुंचे

संयुक्त अरब अमीरात थल सेना के कमांडर मेजर जनरल यूसुफ मयूफ सईद अल हल्लामी 27-28…

8 घंटे ago

रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने नई दिल्ली में सोसाइटी ऑफ़ इंडियन डिफेंस मैन्युफैक्चरर्स (SIDM) के वार्षिक सत्र को संबोधित किया

रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा, "ऑपरेशन सिंदूर के दौरान सशस्त्र बलों द्वारा भारत में…

8 घंटे ago

चक्रवाती तूफ़ान मोन्था बंगाल की खाड़ी में चेन्नई से 560 किलोमीटर पूर्व दक्षिण पूर्व में स्थित, कल तट से टकराने की आशंका

चक्रवाती तूफ़ान मोन्था, बंगाल की खाड़ी में चेन्नई से 560 किलोमीटर पूर्व-दक्षिण-पूर्व में स्थित है।…

11 घंटे ago