रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने आज रेलवे संशोधन विधेयक 2024 राज्यसभा में चर्चा और पारित कराने के लिए प्रस्तुत किया। विधेयक में रेलवे अधिनियम 1989 में संशोधन करने और रेलवे बोर्ड की शक्ति बढ़ाने, कार्यप्रणाली और स्वतंत्रता बढ़ाने का प्रस्ताव है। अश्विनी वैष्णव ने कहा कि इस विधेयक के माध्यम से भारतीय रेलवे बोर्ड अधिनियम, 1905 के सभी प्रावधानों को रेलवे अधिनियम, 1989 में शामिल करने का प्रस्ताव है। लोकसभा पहले ही इस विधेयक को मंजूरी दे चुकी है।
कांग्रेस के विवेक तन्खा ने चर्चा शुरु करते हुए कहा कि रेलवे न केवल यात्रियों को बल्कि अरबों लोगों की आशाओं, सपनों और संघर्ष को भी साथ लेकर चलती है। उन्होंने कहा कि रेलवे के विकास के लिए रेलवे बोर्ड को पूर्ण स्वायत्तता देना आवश्यक है।
विवेक तन्खा ने कहा कि रेलवे को एक पारदर्शी संगठन बनना चाहिए। उन्होंने वरिष्ठ नागरिकों और पत्रकारों के लिए रेलवे में सब्सिडी बहाल करने की भी मांग की। भारतीय जनता पार्टी के सुभाष बराला ने विधेयक का समर्थन करते हुए कहा कि इस विधेयक का उद्देश्य रेलवे के प्रशासनिक कामकाज को और अधिक सुचारू, पारदर्शी और उत्तरदायी बनाना है।
उन्होंने कहा कि विधेयक का उद्देश्य रेलवे बोर्ड को कानूनी समर्थन प्रदान करना है, जिससे रेलवे में व्यापक बदलाव आएगा। तृणमूल कांग्रेस की सुष्मिता देव ने कहा कि सरकार की प्राथमिकता यात्रियों की सुरक्षा सुनिश्चित करना है। चर्चा जारी है।