सर्वोच्च न्यायालय ने आज वक्फ (संशोधन) अधिनियम, 2025 की संवैधानिक वैधता को चुनौती देने वाली याचिकाओं की तत्काल सुनवाई को सूचीबद्ध करने पर विचार करने को लेकर सहमति दिखाई है।
मुख्य न्यायाधीश न्यायमूर्ति संजीव खन्ना, न्यायाधीश संजय कुमार और के.वी.विश्वनाथन की खंडपीठ ने जमीयत उलमा-ए-हिंद की ओर से पेश वरिष्ठ अधिवक्ता कपिल सिब्बल की दलीलों पर गौर किया है। दलीलों में पाया गया कि इस मुद्दे पर कई याचिकाएं हैं और उन्हें तत्काल सुनवाई के लिए सूचीबद्ध करने की जरूरत है। इसके अलावा, कपिल सिब्बल, वरिष्ठ अधिवक्ता अभिषेक सिंघवी और अधिवक्ता निजाम पाशा ने अन्य याचिकाओं को तत्काल सूचीबद्ध किए जाने का भी उल्लेख किया।
राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु ने वक्फ (संशोधन) विधेयक, 2025 को अपनी सहमति दे दी है। इस विधेयक को पहले दोनों सदनों में काफी बहस के बाद संसद ने पारित कर दिया था।
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