राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु ने आज उदगीर में महाराष्ट्र सरकार की ‘शासन आपल्या दारी’ और ‘मुख्यमंत्री माझी लड़की बहिन योजना’ के लाभार्थियों की एक सभा को संबोधित किया।
इस अवसर पर राष्ट्रपति ने कहा कि ‘शासन आपल्या दारी’ और ‘मुख्यमंत्री माझी लड़की बहन योजना’ समावेशी एवं समृद्ध समाज और देश के निर्माण की दिशा में महत्वपूर्ण कदम हैं। उन्हें यह जानकर खुशी हुई कि केंद्र और राज्य सरकार की योजनाओं की मदद से महाराष्ट्र में महिलाएं आत्मनिर्भर बन रही हैं। उन्होंने महिलाओं को वित्तीय साक्षरता और कौशल प्रदान करने के साथ-साथ उनके लिए आजीविका के अवसर पैदा करने के लिए राज्य सरकार की सराहना की। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार पारदर्शी और उत्तरदायी शासन के लिए कई कदम उठा रही है। सरकार नागरिकों के घरों तक बुनियादी सेवाएं पहुंचा रही है ताकि उन्हें उन सेवाओं के लिए सरकारी कार्यालयों के चक्कर न लगाने पड़ें।
राष्ट्रपति ने कहा कि महिला सशक्तिकरण के लिए की जा रही ऐसी सभी पहलों के बारे में जानकर मुझे बहुत संतोष मिलता है। कहा जाता है कि समान परिस्थितियों में परिवार के आर्थिक संसाधनों का उपयोग परिवार के लोगों की भलाई में करने की भावना और समझ पुरुषों से कहीं अधिक महिलाओं में होती है। ऐसा माना जाता है कि अगर हम एक पुरुष को शिक्षित करते हैं तो हम सिर्फ़ एक व्यक्ति को शिक्षित करते हैं लेकिन अगर हम एक महिला को शिक्षित करते हैं तो हम पूरे परिवार और आने वाली पीढ़ी को शिक्षित करते हैं। यह बात आर्थिक सशक्तिकरण के लिए भी सच है। अगर महिलाएं आर्थिक रूप से सशक्त होंगी तो पूरा परिवार और आने वाली पीढ़ी भी सशक्त होगी।
राष्ट्रपति ने इस बात पर प्रसन्नता व्यक्त की कि भारत सरकार की ‘लखपति दीदी’ योजना के माध्यम से देश भर में लगभग एक करोड़ महिलाएं लखपति दीदी बन चुकी हैं। उन्होंने कहा कि इस पहल से महिलाओं में आत्मविश्वास, जागरूकता और नई चेतना बढ़ रही है।
राष्ट्रपति ने महिलाओं के स्वास्थ्य एवं पोषण को सुनिश्चित करने हेतु विभिन्न कदम उठाने के लिए महाराष्ट्र सरकार की सराहना की। उन्होंने कहा कि अक्सर देखा जाता है कि माताएं और बहनें परिवार के खान-पान एवं स्वास्थ्य का ध्यान रखती हैं, लेकिन अपने खान-पान और स्वास्थ्य का ध्यान नहीं रखतीं। उन्होंने उन्हें अपने स्वास्थ्य पर भी ध्यान देने की सलाह दी। उन्होंने कहा कि उन्हें अपने और अपने परिवार के बेहतर भविष्य के लिए अपने स्वास्थ्य का ध्यान रखना होगा।
राष्ट्रपति को यह जानकर खुशी हुई कि पिछले कुछ वर्षों में कार्यबल में महिलाओं की भागीदारी में उल्लेखनीय वृद्धि हुई है। उन्होंने कहा कि महिलाएं अब हर क्षेत्र में योगदान दे रही हैं। लेकिन, महिलाओं की भागीदारी को और बढ़ाने के लिए अभी और प्रयास करने की आवश्यकता है। उन्होंने सभी पुरुषों से महिलाओं की क्षमता को पहचानने और उनके सपनों को साकार करने में उनका साथ देने की अपील की। उन्होंने कहा कि महिलाओं की प्रगति में उत्पन्न कोई भी बाधा समाज और देश के विकास की गति को भी धीमा कर देती है।
इस समारोह में भाग लेने से पहले राष्ट्रपति ने उदगीर में बुद्ध विहार का उद्घाटन किया, जिसमें एक ध्यान केन्द्र भी है और भगवान बुद्ध की प्रतिमा के समक्ष पुष्पांजलि अर्पित की।
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