भारत

तीसरी भारतीय विश्लेषणात्मक कांग्रेस (आईएसी) का उद्घाटन CSIR-IIP देहरादून में हुआ

तीसरी भारतीय विश्लेषणात्मक कांग्रेस (आईएसी) का बुधवार को देहरादून में वैज्ञानिक एवं औद्योगिक अनुसंधान परिषद-भारतीय पेट्रोलियम संस्थान (सीएसआईआर-आईआईपी) में उद्घाटन हुआ। यह तीन दिवसीय अंतरराष्ट्रीय सम्मेलन सह प्रदर्शनी आईएसी-2024 है। इसका आयोजन सीएसआईआर-आईआईपी और इंडियन सोसाइटी ऑफ एनालिटिकल साइंटिस्ट (आईएसएएस-दिल्ली चैप्टर) की ओर से संयुक्त रूप से किया जा रहा है। सम्मेलन का विषय ‘हरित परिवर्तनों में विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी की भूमिका’ है।

लद्दाख विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. एस. के. मेहता ने उद्घाटन सत्र को संबोधित करते हुये लद्दाख में नव विकसित शैक्षणिक बुनियादी संरचना की भूमिका का अवलोकन प्रस्तुत किया। उन्होंने डीएसटी, डीबीटी और अन्य वित्त पोषण एजेंसियों से प्राप्त अनुसंधान निधि के माध्यम से लद्दाख विश्वविद्यालय में हाल ही में विकसित उन्नत अनुसंधान सुविधाओं का भी प्रदर्शन किया।

सीएसआईआर-आईआईपी के निदेशक डॉ हरिंदर सिंह बिष्ट ने नयी उन्नत विश्लेषणात्मक सुविधाओं के महत्व और ऊर्जा परिवर्तन में उनकी भूमिका के बारे में जानकारी दी। भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान, मद्रास के प्रोफेसर प्रो. रजनीश कुमार ने एसएसबी पुरस्कार विजेता और “सीओ2 कैप्चर और सीक्वेस्ट्रेशन कार्बन कैप्चर उपयोग और सीक्वेस्ट्रेशन और भारत में नेट जीरो लक्ष्यों के लिये इसकी प्रासंगिकता” पर एक पूरा व्याख्यान दिया।

ऊर्जा और ऊर्जा उपकरणों (ईईडी) में सीएसआईआर की पहल और विषयगत उपलब्धियों को ‘वन वीक वन थीम’ (ओडब्ल्यूओटी) कार्यक्रम के माध्यम से प्रदर्शित किया गया। ईईडी सत्र पारंपरिक ऊर्जा स्रोतों, नवीकरणीय और गैर-पारंपरिक ऊर्जा / ऊर्जा प्रणालियों और ऊर्जा भंडारण और उपकरणों पर केंद्रित था।

तीन दिवसीय अंतरराष्ट्रीय सम्मेलन विश्लेषणात्मक विज्ञान में उद्योगों, शिक्षाविदों, वैज्ञानिकों और प्रौद्योगिकीविदों के लिये इस क्षेत्र में प्रचलित और आगामी समाधानों को प्रस्तुत करने के लिये एक मंच प्रदान करेगा। सम्मेलन में पांच तकनीकी सत्र होंगे, जिनमें प्रख्यात वक्ताओं की वार्ता, शोधकर्ताओं की प्रस्तुतियां और विशेष और पूर्ण सत्र शामिल होंगे।

उद्घाटन समारोह के दौरान इंडियन सोसाइटी ऑफ एग्रीकल्चरल स्टेटिस्टिक्स – दिल्ली चैप्टर के अधिकारी डॉ. जी. एस. कपूर, डॉ. जे. क्रिस्टोफर, डॉ. रवीन्द्र कुमार और डॉ. राजकुमार सिंह मौजूद थे। सम्मेलन में इंडियन ऑयल कारपोरेशन लिमिटेड, भारत पेट्रोलियम कारपाेरेशन लिमिटेड और एचएमईएल जैसी सार्वजनिक क्षेत्र की इकाइयों और भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान – रुड़की, यूपीईसी, दून विश्वविद्यालय, बार्क, पंजाब विश्वविद्यालय आदि जैसे संस्थानों के 250 से अधिक प्रतिनिधियों ने भाग लिया।

Editor

Recent Posts

केंद्र सरकार ने इलेक्ट्रॉनिक्स विनिर्माण घटक योजना के तहत 5500 करोड़ रुपये से अधिक के निवेश वाली सात परियोजनाओं के पहले बैच को स्वीकृति दी

केंद्रीय इलेक्ट्रॉनिक्स एवं सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री अश्विनी वैष्णव ने इलेक्ट्रॉनिक्स घटक विनिर्माण योजना (ईसीएमएस) के…

10 घंटे ago

गृह मंत्री अमित शाह ने आज मझगांव डॉक, मुंबई में प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना के अंतर्गत ‘गहन सागरीय मत्स्य नौकाओं’ का लोकार्पण किया

केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने आज मझगांव डॉक, मुंबई में प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना…

10 घंटे ago

संयुक्त अरब अमीरात थल सेना के कमांडर मेजर जनरल यूसुफ मयूफ सईद अल हल्लामी भारत पहुंचे

संयुक्त अरब अमीरात थल सेना के कमांडर मेजर जनरल यूसुफ मयूफ सईद अल हल्लामी 27-28…

10 घंटे ago

रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने नई दिल्ली में सोसाइटी ऑफ़ इंडियन डिफेंस मैन्युफैक्चरर्स (SIDM) के वार्षिक सत्र को संबोधित किया

रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा, "ऑपरेशन सिंदूर के दौरान सशस्त्र बलों द्वारा भारत में…

10 घंटे ago

चक्रवाती तूफ़ान मोन्था बंगाल की खाड़ी में चेन्नई से 560 किलोमीटर पूर्व दक्षिण पूर्व में स्थित, कल तट से टकराने की आशंका

चक्रवाती तूफ़ान मोन्था, बंगाल की खाड़ी में चेन्नई से 560 किलोमीटर पूर्व-दक्षिण-पूर्व में स्थित है।…

13 घंटे ago